पीएम का  सौगात : वर्ल्ड क्लास सुविधाओं से लैस हबीबगंज रेलवे स्टेशन की सुंदरता के हो जाएंगे कायल – विशेष रिपोर्ट

शंभू नाथ गौतम (वरिष्ठ पत्रकार) : राजधानी दिल्ली रेल मार्ग से फरीदाबाद, मथुरा, आगरा, ग्वालियर, झांसी, भोपाल उसके बाद आता है हबीबगंज। ‌‌यह मुंबई रेल मार्ग है। मध्य प्रदेश की राजधानी भोपाल से 7 किलोमीटर दूर अगला रेलवे स्टेशन हबीबगंज है, समझ लीजिए यह भोपाल से लगा हुआ है। आज हबीबगंज देश और दुनिया के नक्शे में छाया हुआ है। इसका कारण है यह रेलवे स्टेशन वर्ल्ड क्लास और आधुनिक सुविधाओं के साथ देश का नंबर वन बन चुका है। यह पिछले दिनों ही पूरी तरह बनकर तैयार हुआ है। भोपाल के हबीबगंज रेलवे स्टेशन का पुनर्विकास कर इसे विश्वस्तरीय स्टेशन बनाया गया है। यह देखने में किसी एयरपोर्ट की तरह नजर आता है। आज प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी दोपहर बाद इस रेलवे स्टेशन को देश को समर्पित करने जा रहे हैं। अब यह हबीबगंज रेलवे स्टेशन रानी कमलापति के नाम से जाना जाएगा। बता दें कि प्रधानमंत्री मोदी आज भोपाल दौरे पर हैं। वे जनजातीय गौरव दिवस पर आयोजित सम्मेलन को संबोधित करेंगे। प्रधानमंत्री राज्य सरकार की आदिवासियों से जुड़ी योजनाओं का शुभारंभ भी करेंगे और वर्ल्ड क्लास रानी कमलापति रेलवे स्टेशन (हबीबगंज) रेलवे स्टेशन का उद्घाटन भी करेंगे। गौरतलब है कि मोदी सरकार ने हाल ही में आदिवासी नेता और स्वतंत्रता सेनानी बिरसा मुंडा की याद में हर साल 15 नवंबर को जनजातीय गौरव दिवस के रूप में मनाने की घोषणा की है। बता दें कि गोंड साम्राज्य की बहादुर और निडर रानी कमलापति के सम्मान में पुनर्विकसित मध्य प्रदेश के पहले विश्वस्तरीय रेलवे स्टेशन को रानी कमलापति रेलवे स्टेशन का नाम दिया गया है। 18 वीं शताब्दी की गोंड रानी, रानी कमलापति गिन्नौरगढ़ के मुखिया निजाम शाह की विधवा गोंड शासक थीं। गौरतलब है कि गोंड समुदाय में 1.2 करोड़ से अधिक आबादी वाला भारत का सबसे बड़ा आदिवासी समूह शामिल है। भाषाई रूप से, गोंड द्रविड़ भाषा परिवार की दक्षिण मध्य शाखा के गोंडी-मांडा उपसमूह से संबंधित है। सही मायने में पीएम मोदी हबीबगंज रानी कमलापति रेलवे स्टेशन को जनजातीय समुदाय को सौगात देने जा रहे हैं।

लग्जरी सुविधाओं से लैस इस स्टेशन के सामने एयरपोर्ट भी फीका नजर आएगा :-

बता दें कि साल 2019 में केंद्र की सत्ता में मोदी सरकार की वापसी के बाद यह दूसरा ऐसा स्टेशन है, जिसे आलीशान तरीके से बनाया गया है। इससे पहले गुजरात का गांधीनगर था। ऐसे ही हबीबगंज रेलवे स्टेशन पर अब यात्रियों को शॉपिंग कॉम्प्लेक्स, हॉस्पिटल, मॉल, स्मार्ट पार्किंग, हाई सिक्योरिटी समेत कई आधुनिक सुविधाएं मिलने जा रही है। हबीबगंज देश में पहला आईएसओ-9001 सर्टिफाइड रेलवे स्टेशन है। यह स्टेशन भारत की पहली सर्टिफाइड ट्रेन शान-ए-भोपाल एक्सप्रेस का हेडक्वार्टर भी है। यहां कई बड़ी ट्रेनों का स्टॉपेज है। रेलवे प्लेटफॉर्म तक पहुंचने वाले यात्री स्टेशन पर एस्केलेटर या लिफ्ट के जरिये आसानी से पहुंच सकते हैं। हबीबगंज रेलवे स्टेशन सार्वजनिक निजी साझेदारी के तहत बना देश का पहला मॉडल स्टेशन है। हबीबगंज स्टेशन में प्रवेश का अलग मार्ग होगा और बाहर निकलने का अलग। स्टेशन पर एयर कॉनकोर बनाया गया है जिसमें 700 यात्री एक साथ बैठकर ट्रेन का इंतजार कर सकते हैं। इस स्टेशन पर फूड रेस्टोरेंट, एसी वेटिंग रूम से लेकर रिटायरिंग रूम और डॉरमेट्री समेत वीआईपी लाउंज भी बनाया गया है। सुरक्षा व्यवस्था को ध्यान में रखते हुए स्टेशन पर लगभग 160 सीसीटीवी कैमरे भी लगाए गए हैं, जो स्टेशन के अंदर और बाहर 24 घंटे नजर रखेंगे। हबीबगंज स्टेशन पर 70-80 अप-डाउन ट्रेन ठहरती है, जिनसे रोजाना हजारों लोग आते-जाते हैं। हबीबगंज रेलवे स्टेशन में प्रदेश के पर्यटन और संस्कृति की झलक दिखेगी। स्टेशन के मुख्य द्वार एवं प्रतीक्षालय में मध्यप्रदेश के पर्यटन एवं दर्शनीय स्थलों भोपाल शहर और भोपाल के आसपास जैसे भोजपुर मंदिर, सांची स्तूप, भीम बैठिका, बिड़ला मंदिर, सांकाश्यामजी, वीआईपी रोड, तवा डेम, जनजातीय संग्रहालय आदि स्थलों के चित्र प्रदर्शित किए जाएंगे।

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