उत्तराखंड में कोरोना को ध्यान में रख मनाया जा रहा है ‘छठ महापर्व’ राज्यपाल और मुख्यमंत्री ने दी शुभकामनायें

पूर्वांचल वासियों का महापर्व छठ का उत्साह उत्तराखंड में भी खासा देखने को मिल रहा है। राजधानी देहरादून सहित हरिद्वार, ऋषिकेश, हल्द्वानी और रुद्रपुर में छठ पूजा बड़े ही धूमधाम से मनाया जा रहा है।

इस वर्ष कोविड-19 के चलते छठ पूजा में कई अहम बदलाव देखे जा रहे हैं, इस बार का छठ पूजा बेहद ही सादगी से मनाया जा रहा है। साथ ही कोविड-19 के गाइडलाइन का पूरी तरह पालन किया जा रहा है।

छठ पूजा को देखते हुए उत्तराखंड की राज्यपाल बेबी रानी मौर्य एवं मुख्यमंत्री त्रिवेंद्र सिंह रावत ने भी सभी पूर्वांचल वासियों को छठ पूजा की ढेरों शुभकामनाएं दी है।

छठ पूजा मनुष्य और प्रकृति के बीच एक महत्वपूर्ण रिश्ते को दर्शाता है, यह पर्व हमें प्रकृति से जुड़े रहने का संदेश देता है। व्रत करने वाली सभी महिलाओं को हार्दिक शुभकामनाएं – बेबी रानी मौर्य राज्यपाल (उत्तराखंड)

लोक आस्था से जुड़ा यह महापर्व हमें सतिवक्ता तथा स्वच्छता का संदेश देता है, यह पूजा सूर्य को अर्घ्य दे कर मानव और ईश्वर के बीच के अटूट रिश्ते को दर्शाता है। मैं सभी की सुख समृद्धि की कामना करता हूं। – त्रिवेंद्र सिंह रावत (मुख्यमंत्री) उत्तराखंड

छठ पूजा पर छुट्टी ना होने से हुए नाखुश :-

छठ 4 दिनों तक तक चलने वाला महापर्व है, इसमें छठ रखने वाली महिलाओं सहित पूरे परिवार बढ़-चढ़कर हिस्सा लेता है। ऐसे में पूर्व वर्षों के भक्ति इस बार छुट्टी ना होने के वजह से निराशा का माहौल दिख रहा है। प्रदेश उत्तराखंड में पूर्वांचल वासियों हेतु कार्य करने वाली संस्था ‘पूर्वा सांस्कृतिक मंच’ से जुड़े कुछ लोगों ने कहा कि सरकार यदि एक दिवसीय छुट्टी घोषित करती तो छठ का उत्साह और बढ़ जाता।

आज छुट्टी नहीं करके सरकार ने उत्तराखंड के विकास को अपने खुन पसीने से गतिवान बनाने वाले पूरबियों के भावनाओं की अनदेखी की है! – सुभाष झा (संस्थापक/महासचिव) पूर्वा सांस्कृतिक मंच 

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